Sunday, February 23, 2014

मैं राही नहीं हूँ

मैं पागल ही था,
जो राहों में निकला
मैं तिनका ही था,
सदाओं में बिखरा ।

वो राहें थी अद्भुत
वो मुझको बुलाती
मैं उनमे समाता
वो मुझमे समाती ।

वो राहें थी प्यारी
ज्यूँ हँसते हों बादल
घटायें उमड़कर
ज्यूँ फैलायें चादर ।

मुझे ले के जायें
एक ऐसे जहां में ..
एक ऐसे जहां में ..

जहाँ कोई झूला सा
परियाँ झुलाती
जहाँ थपकी दे के
हवायें सुलाती
जहाँ खिलखिलाहट
बरबस हंसाती
अठखेलियां कर
बूंदे सताती ।

उन राहों पे चलना
जैसे हो जीवन
बिना स्वांग के जैसे
अर्पण हो तन मन ।

जो सब कुछ है सुन्दर
तो फिर ये खटक क्यूँ ?
जो सब कुछ है अच्छा
तो फिर ये सनक क्यूँ ?

क्यूँ चलना है फिर से
नयी सी डगर पर ?
क्यूँ जाना है फिर से
नए से एक घर पर ?

मैं शायद इन राहों का
राही नहीं हूँ
मैं शायद फिजाओं का
आदी नहीं हूँ ।

मेरे पैरों में कांटे
हैं राहों को चुभते
कहो कैसे कांटे वो
मैं अब निकालूं ?
कहो कैसे राहों से
मैं अब विदा लूँ ?

मैं चलना भी चाहूँ
मैं हटना भी चाहूँ
मैं रुकना भी चाहूँ
मैं मुड़ना भी चाहूँ

मेरे दिल में कैसी
ये कैसी कशिश है !
मेरे दिल में छायी
ये कैसी तपिश है !

जो चलता रहा मैं
तो तय है कि हर पल
उन राहों की आँखों
में आंसू रहेंगे ।

जो चलता रहा मैं
तो राहों का सीना
मेरे आंसुओं से भी
छलनी रहेगा ।

और ये भी है फिर
कि राहों पे चलता
अकेला नहीं मैं
कोई और भी है ।

वो राहें है उसकी
वो उसकी रहेंगी
मेरी खुद की साँसे
बस इतना कहेंगी ।

और सच भी यही है
कि राहों से उसने
थे कांटे हटाये
राहों को चलने
के लायक बनाया ।

तो मंजिल पे ज्यादा
हक़ है उसी का
मेरी कोई मंजिल
कोई राहें नहीं है ।
मेरी कोई ख्वाहिश
कोई आहें नहीं है ।

मैं हूँ मुसाफिर
ले झोला दुखों का
राहों पे चलता
गिरता बिखरता ।

तो अच्छा यही है
कि कांटो को अपने
कहीं और बाँटू
राहों में फिर से
कोई राह छाँटू ।

जहाँ पर कभी मैं
झोला बदल कर
खुशियों कि बारिश
में ऐसे नहाऊं ..

कि राहें भी नाचें
बिना कंटकों के !
बिना आसुंओ के !

सपना ये मेरा
पर सपना रहेगा ।

जो मंजिल नहीं है
तो राहें क्यूँ होंगी ?
मैं शायद मुसाफिर
या राही नहीं हूँ ।

मैं चलता हूँ फिर भी
ये आशा को लेकर
कहीं मुझको अपना
ठिकाना मिलेगा ।

जहां मैं किसी को
आंसू के बदले
सुकूं की वो चादर
कभी तो ओढ़ा दूँ ।

कभी तो उन राहों से
उनकी निगाहों से
है जो वफ़ा सी
कभी तो निभा लूँ । 

1 comment:

Unknown said...

congrats Bhaiya....all the best for interview...this time you will surely make it...